रांची| भाजपा प्रदेश अध्यक्ष एवं नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने झारखंड कर्मचारी चयन आयोग द्वारा आयोजित झारखंड विशिष्ट एवं तकनीकी योग्यताधारी प्रतियोगिता परीक्षा के अचानक रद्द होने को युवाओं के साथ सरकार का साफ विश्वासघात बताया है।
मरांडी ने कहा कि आज आयोजित होनी वाली इस परीक्षा को कल अचानक तकनीकी खामियों का हवाला देकर रद्द कर दिया गया, जिससे लाखों अभ्यर्थी आर्थिक और मानसिक रूप से प्रभावित हुए हैं। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या इस असफलता के पीछे मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का दिल्ली में होना जिम्मेदार है या कोई अन्य कारण है।
उन्होंने कहा कि पिछले छह सालों से सरकार युवाओं के साथ एक साजिश के तहत उनकी भावनाओं के साथ खिलवाड़ कर रही है। पेपर लीक होने की घटनाओं और प्रशासनिक देरी से युवाओं का करियर नष्ट हो रहा है। उन्होंने मांग की कि तकनीकी खामियों को तुरंत दूर कर परीक्षा पारदर्शी तरीके से पुनः आयोजित की जाए और परीक्षा केंद्र आने-जाने के खर्च को भी सरकार वहन करे।
मरांडी ने यह भी कहा कि यह जिम्मेदारी सरकार की है कि वह युवाओं का विश्वास बनाए रखें और भविष्य में इस तरह की घटनाओं से बचा जाए। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि ऐसा नहीं हुआ तो युवा भागीदार नहीं रहेंगे, बल्कि विरोधी बन जाएंगे।
यह विवाद झारखंड सरकार की युवा नीति और प्रशासनिक पारदर्शिता पर एक बड़ा सवाल खड़ा कर रहा है और इसे जल्द से जल्द समाधान की आवश्यकता है।